हाईकोर्ट ने राज्य से दो सप्ताह के भीतर हलफनामा मांगते हुए आदेश दिया है कि आमतौर पर ऐसी किसी भी कार्रवाई के लिए उन दोषी अधिकारियों के खिलाफ सख्त आदेश की आवश्यकता होती है, जिन्होंने धनराशि को गलत तरीके से निर्देशित किया और इसे अनधिकृत उपयोग के लिए डायवर्ट किया।
पंजाब सरकार की ओर से केंद्र से 350 करोड़ रुपये प्राप्त करने के बावजूद आयुष्मान भारत योजना के तहत निजी अस्पतालों को धनराशि जारी न करने पर पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने पंजाब सरकार को फटकार लगाई है। हाईकोर्ट ने पंजाब स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव कुमार राहुल सहित वरिष्ठ अधिकारियों के वेतन कुर्क करने का आदेश दिया है।
हाईकोर्ट ने राज्य से दो सप्ताह के भीतर हलफनामा मांगते हुए आदेश दिया है कि आमतौर पर ऐसी किसी भी कार्रवाई के लिए उन दोषी अधिकारियों के खिलाफ सख्त आदेश की आवश्यकता होती है, जिन्होंने धनराशि को गलत तरीके से निर्देशित किया और इसे अनधिकृत उपयोग के लिए डायवर्ट किया।
हालांकि, किसी भी कार्रवाई का प्रस्ताव करने से पहले दिसंबर 2021 से अब तक केंद्र से पंजाब की ओर से प्राप्त वित्तीय प्रतिपूर्ति और उस धन का उपयोग कैसे किया गया है, इस बारे में राज्य से विस्तृत प्रतिक्रिया लेना उचित समझा जाता है। हलफनामे में यह भी बताया जाएगा कि आयुष्मान भारत भुगतान के लिए केंद्र से प्राप्त राशि का उपयोग उक्त उद्देश्यों (जिसके लिए राशि का उपयोग किया गया है) के लिए किया जा सकता है या नहीं।
कोर्ट ने राज्य से 30 दिसंबर, 2021 से 24 सितंबर, 2024 तक बिलों के विरुद्ध किए गए भुगतानों का विवरण और भुगतान जारी होने की तारीख बताने को कहा है। अन्य अधिकारी जिनके वेतन भी कुर्क किए गए हैं, उनमें बबीता, मुख्य कार्यकारी अधिकारी, दीपक, निदेशक और शरणजीत कौर, उप निदेशक, राज्य स्वास्थ्य एजेंसी, स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग, पंजाब शामिल हैं।