
Chhattisgarh News: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय रायपुर में आयोजित जैन समाज के मैत्री महोत्सव में शामिल हुए और संतों का आशीर्वाद लिया. उन्होंने सेवा भाव, क्षमा और वसुधैव कुटुम्बकम का संदेश दिया.
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने राजधानी रायपुर में सकल दिगम्बर जैन समाज द्वारा आयोजित गुरु शरणम् – मैत्री महोत्सव – क्षमादान उत्सव में शिरकत की. पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में पूज्य आर्यिकारत्न 105 अंतर्मति माताजी ससंघ के सान्निध्य में हुए इस आयोजन में विधायक राजेश मूणत, जैन समाज के पदाधिकारियों और बड़ी संख्या में गणमान्य नागरिक उपस्थित थे.
मुख्यमंत्री ने संतों का आशीर्वाद लिया, जैन समाज की परंपरागत पगड़ी और गमछा पहनकर सम्मानित हुए और विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट योगदान देने वाले व्यक्तियों को सम्मानित किया। उन्होंने आचार्य विद्यासागर कल्याण सेवा संस्था के लोगो का विमोचन भी किया.
मुख्यमंत्री का संदेश
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि मैत्री महोत्सव केवल आयोजन नहीं, बल्कि आत्मिक जागरण और जीवन शुद्धि का पावन अवसर है. उन्होंने कहा कि भारत केवल संस्कृति और सभ्यता की जन्मभूमि ही नहीं, बल्कि आध्यात्मिक प्रयोगों की प्रयोगशाला भी है, जहां धर्म पूजा तक सीमित न होकर जीवन जीने की कला है.
उन्होंने भगवान महावीर स्वामी के संदेश ‘जियो और जीने दो’ को उद्धृत करते हुए कहा कि क्षमादान पर्व का सार ‘उत्तम क्षमा, सबसे क्षमा और सबको क्षमा’ है, जो वसुधैव कुटुम्बकम की भावना का वास्तविक स्वरूप है. मुख्यमंत्री ने जैन समाज को परोपकारी बताते हुए कहा कि इस समाज की सेवा भावना से छत्तीसगढ़ को निरंतर लाभ मिलता रहेगा.
आचार्य विद्यासागर जी का स्मरण
CM ने अपने संबोधन में कहा कि अहिंसा, अपरिग्रह और अनेकांत के सिद्धांत समरस समाज की आधारशिला हैं. उन्होंने पूज्य आचार्य विद्यासागर और आर्यिकारत्न 105 अंतर्मति माताजी ससंघ को नमन करते हुए कहा कि संतों ने संयम, तप और साधना के बल पर समाज को दिशा दी है. उन्होंने बताया कि आचार्य विद्यासागर जी का जीवन-दर्शन त्याग, सेवा और आत्मसंयम का अनुपम उदाहरण है. यह छत्तीसगढ़ का सौभाग्य है कि आचार्य जी ने अपने कठोर साधना के अनेक साल यहां बिताए और अंततः चंद्रगिरी तीर्थ पर समाधि ली. मुख्यमंत्री ने कहा कि जैन धर्म के मूल आदर्श—अहिंसा परमो धर्मः, अनेकांतवाद, सत्य और संयम- केवल जैन समाज की धरोहर नहीं बल्कि पूरे राष्ट्र की आत्मा हैं.
सम्मान और विमोचन
कार्यक्रम में समाज के उत्कृष्ट कार्यकर्ताओं को भी सम्मानित किया गया. जैन तीर्थों के निर्माण और संरक्षण के लिए मनीष जैन, आयुर्वेद सेवा में योगदान के लिए विजय गोधा तथा समाज सेवा के लिए सुनील संगोलिया को मुख्यमंत्री द्वारा सम्मानित किया गया. इस अवसर पर चांदी पर उत्कीर्ण गुरु-स्मृति और आचार्य विद्यासागर द्वारा रचित हाइकू, जिसे चांदी पर उत्कीर्ण किया गया, का भी विमोचन हुआ.
सकल दिगम्बर जैन समाज के अध्यक्ष विनोद बड़जात्या ने आचार्य विद्यासागर कल्याण योजना की जानकारी दी और समाज के लोगों से जुड़ने की अपील की. कार्यक्रम में सीआईआई के अध्यक्ष संजय बड़जात्या, नरेन्द्र जैन, यशवंत जैन, रतनलाल बड़जात्या, सुधीर बाकलीवाल सहित बड़ी संख्या में गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे.
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