Constitution Day 2025: ‘पहली बार मतदान करने वालों का सम्मान करें’, संविधान दिवस पर PM मोदी का लेटर

Constitution Day of India 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज संविधान दिवस पर स्कूल और कॉलेजों को सुझाव दिया कि 18 साल की उम्र पूरी कर पहली बार मतदान करने वालों का सम्मान करें. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार (26 नवंबर) को नागरिकों से अपने संवैधानिक कर्तव्यों का पालन करने की अपील की और कहा कि ये एक मज़बूत लोकतंत्र की नींव है. संविधान दिवस पर नागरिकों को लिखे पत्र में पीएम मोदी ने मतदान के अधिकार का प्रयोग करके लोकतंत्र को मज़बूत करने की ज़िम्मेदारी पर भी जोर दिया. उन्होंने सुझाव दिया कि 18 साल की उम्र पूरी कर पहली बार मतदान करने वालों का सम्मान करके संविधान दिवस मनाएं.

पीएम मोदी ने महात्मा गांधी के इस विश्वास को याद किया कि अधिकार कर्तव्यों के निर्वहन से प्राप्त होते हैं. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि कर्तव्यों का निर्वहन सामाजिक और आर्थिक प्रगति का भी आधार है. उन्होंने कहा कि आज ली गई नीतियां और निर्णय आने वाली पीढ़ियों के जीवन को आकार देंगे और नागरिकों से अपील की कि वे अपने कर्तव्यों को सर्वोपरि रखें, क्योंकि भारत विकसित भारत के विजन की ओर बढ़ रहा है.

‘हमारा संविधान मानवीय गरिमा, समानता और स्वतंत्रता को सर्वोच्च महत्व देता है’
पीएम मोदी ने आज बुधवार (26 नवंबर) को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर कहा कि संविधान दिवस पर हम अपने संविधान निर्माताओं को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं. उनकी दूरदर्शिता और दूरदर्शिता हमें एक विकसित भारत के निर्माण के लिए प्रेरित करती रहती है. हमारा संविधान मानवीय गरिमा, समानता और स्वतंत्रता को सर्वोच्च महत्व देता है. उन्होंने आगे कहा कि यह हमें अधिकारों से सशक्त तो करता ही है, साथ ही नागरिक के रूप में हमारे कर्तव्यों की भी याद दिलाता है, जिन्हें हमें सदैव निभाने का प्रयास करना चाहिए. ये कर्तव्य एक मज़बूत लोकतंत्र की नींव हैं. आइए हम अपने कार्यों के माध्यम से संवैधानिक मूल्यों को मजबूत करने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराएं.

पीएम मोदी ने कहा कि हमारा संविधान मानवीय गरिमा, समानता और स्वतंत्रता को सर्वोच्च महत्व देता है. यह हमें अधिकारों से सशक्त बनाता है. ये हमें नागरिक के रूप में हमारे कर्तव्यों की भी याद दिलाता है, जिन्हें हमें सदैव निभाने का प्रयास करना चाहिए. ये कर्तव्य एक मजबूत लोकतंत्र की नींव हैं. 

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