
Delhi News: दिल्ली सरकार ने अदालत और सतर्कता जांच से जुड़ी फाइलों में हो रही देरी पर नाराज़गी जताई है. अधिकारियों को चेतावनी दी गई है कि रिपोर्ट तय समय पर जमा करें, वरना होगी कार्रवाई. दिल्ली सरकार ने अदालती मामलों और सतर्कता जांच से जुड़ी फाइलों में हो रही देरी पर नाराज़गी जताई है. हाल ही में हुई एक उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक में यह मुद्दा प्रमुख रूप से उठाया गया कि कई मामलों में जांच रिपोर्ट समय पर तैयार नहीं की जा रही, जिससे सरकार को अदालत में जवाब देने में दिक्कत आ रही है. अधिकारियों को स्पष्ट चेतावनी दी गई है कि भविष्य में ऐसी लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी और जिम्मेदारी तय की जाएगी.
पुरानी जांच रिपोर्टें अब तक अधर में
बैठक के दौरान बताया गया कि रोहिणी में न्यायिक अधिकारियों के लिए बने आवासीय परिसर को करीब एक साल पहले तोड़ दिया गया था, जिसके बाद सतर्कता जांच के आदेश दिए गए थे. लेकिन अब तक यह रिपोर्ट तैयार नहीं हो सकी कि इमारत तोड़े जाने के लिए जिम्मेदार कौन अधिकारी या एजेंसी थी.
इसी तरह बारापुला फेज-3 एलिवेटेड कॉरिडोर परियोजना में एक निजी कंपनी को किए गए भुगतान की जांच रिपोर्ट भी अब तक तैयार नहीं हुई है.
कोर्ट केस फाइलें समय से भेजनी होंगी
सरकार ने साफ निर्देश दिए हैं कि अदालती और सतर्कता से जुड़े मामलों की रिपोर्ट तय समयसीमा में जमा की जाए. साथ ही कहा गया है कि अदालतों में चल रहे मामलों में कोई भी विभाग अंतिम समय पर फाइलें भेजने की गलती न दोहराए. अब नया नियम तय किया गया है कि कोर्ट मामलों से जुड़ी फाइलें कम से कम एक हफ्ता पहले विधि विभाग को भेजी जाएं, ताकि कानूनी राय समय पर दी जा सके.
लापरवाही पर तय होगी जवाबदेही
दिल्ली सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि यदि भविष्य में कोई अधिकारी लापरवाही बरतेगा तो उसकी जवाबदेही तय की जाएगी और अनुशासनात्मक कार्रवाई भी की जा सकती है. यह कदम दिल्ली सरकार की पारदर्शिता और जवाबदेही को मजबूत करने की दिशा में एक अहम पहल माना जा रहा है.



