
लोकसभा में बुधवार को प्रश्नकाल के दौरान बिहार में रेल परियोजनाएं विषय पर चर्चा चल रही थी। इस दौरान विपक्षी सांसदों ने बिहार मतदाता सूची पुनरीक्षण को लेकर हंगामा किया। सांसदों के हंगामे को लेकर लोकसभा स्पीकर ओम बिरला भड़क गए। आइए जानते हैं उन्होंने विपक्षी सांसदों से क्या कहा…?
लोकसभा में बुधवार को प्रश्नकाल के दौरान विपक्ष ने बिहार मतदाता सूची पुनरीक्षण के मुद्दे पर जमकर हंगामा किया। बुधवार को जब विपक्षी सांसदों ने हंगामा किया तो लोकसभा स्पीकर ओम बिरला भड़क गए। उन्होंने विपक्षी सांसदों को चेतावनी देते हुए कहा कि आप सड़क का व्यवहार संसद में कर रहे हैं। ये देश देख रहा है। उन्होंने कहा कि सदन में तख्तियां लेकर आने वालों पर मुझे निर्णायक कार्रवाई करनी पड़ेगी। बता दें कि लगातार तीन दिन से हो रहे विपक्ष के हंगामे के चलते लोकसभा को स्थगित करना पड़ रहा है। संसद का मानसून सत्र 21 जुलाई से शुरू हुआ है।
लोकसभा में बुधवार को प्रश्नकाल के दौरान बिहार में रेल परियोजनाएं विषय पर चर्चा चल रही थी। इस दौरान विपक्षी सांसदों ने बिहार मतदाता सूची पुनरीक्षण को लेकर हंगामा किया। सांसदों के हंगामे को लेकर लोकसभा स्पीकर ओम बिरला भड़क गए। उन्होंने कहा कि संसद हमारे गौरवशाली लोकतंत्र की सर्वोच्च संस्था है। सांसदों से मेरी अपेक्षा रहती है कि संसद के अंदर आपका आचरण, व्यवहार, कार्यपद्धति मर्यादित रहना चाहिए। देश की जनता ने आपको यहां पर उनकी आवाज, उनकी चुनौतियों, उनकी अपेक्षाएं और देश के मुद्दों पर चर्चा करने के लिए भेजा है।
लोकसभा स्पीकर बोले कि आपका जो व्यवहार है वो सड़कों का है। यह आचरण और व्यवहार आप संसद में कर रहे हैं। ये देश देख रहा है। मैं सभी राजनीतिक दलों से कहता हूं कि देश उनके सदस्यों के आचरण को देख रहा है। मैं दोबारा कहता हूं कि सदन में तख्तियां लेकर आने वालों पर मुझे निर्णायक कार्रवाई करनी पड़ेगी। आप जाइए, सदन में बैठिए और मुद्दों पर चर्चा कीजिए। इसके बाद लोकसभा स्पीकर ने कार्यवाही को दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।
तीन दिन से विपक्ष कर रहा हंगामा
संसद का मानसून सत्र 21 जुलाई से शुरू हुआ है। बीते दो दिनों से लगातार संसद की कार्रवाई हंगामे की भेंट चढ़ रही है। पहले दिन विपक्ष ने पहलगाम आतंकी हमले के मुद्दे को लेकर हंगामा किया। इसके बाद दूसरे दिन बिहार में चल रहे मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) को लेकर हंगामा हुआ। संसद के अंदर से लेकर बाहर तक सियासी संग्राम देखने को मिला। विपक्षी सदस्यों ने लोकसभा में बिहार एसआईआर का मुद्दा उठाया और जमकर हंगामा किया। नारेबाजी और हंगामे के कारण कार्यवाही नहीं चल सकी।