
दिल्ली के उपराज्यपाल ने दिल्ली सरकार और सहायता प्राप्त स्कूलों के 410 पार्ट टाइम शिक्षकों की सेवा बढ़ाने की मंजूरी दी है, साथ ही वेतन में वृद्धि भी की गई है. दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने दिल्ली सरकार और सरकारी सहायता प्राप्त स्कूलों में कार्यरत 410 पार्ट टाइम शिक्षकों की सेवा अवधि मार्च 2026 तक बढ़ाने को मंजूरी दे दी है. इसके साथ ही इन शिक्षकों के वेतन में वृद्धि भी की गई है और इस फैसले से दिल्ली के स्कूलों में शिक्षा व्यवस्था को और अधिक मजबूती मिलने की उम्मीद है.
शिक्षा विभाग द्वारा भेजे गए प्रस्ताव के मुताबिक 1 अप्रैल 2025 से 31 मार्च 2026 तक 410 शिक्षकों जिसके 402 क्वालिफाइड शिक्षक और 8 नॉन क्वालिफाइड शिक्षकों की सेवाएं जारी रहेंगी और इसके अलावा हॉस्पिटैलिटी और टूरिज़्म विषय में कार्यरत दो पार्ट टाइम शिक्षकों का अनुबंध भी 1 मार्च 2025 से 28 फरवरी 2026 तक बढ़ाया गया है.
इसके अलावा चार सहायता प्राप्त वरिष्ठ माध्यमिक स्कूलों में कार्यरत 9 पार्ट टाइम शिक्षकों की सेवाएं भी शैक्षणिक सत्र 2025-26 के लिए बढ़ा दी गई हैं. सरकार ने इस योजना के लिए कुल 36 करोड़ रुपये मंज़ूर किए हैं, जिससे शिक्षकों के वेतन भुगतान और व्यावसायिक शिक्षा को निरंतर बनाए रखने में मदद मिलेगी.
दिल्ली में वोकेशनल विषय के पार्ट टाइम शिक्षक 1970 और 2000 के दशक से अनुबंध या इमरजेंसी के आधार पर कार्यरत हैं और ये शिक्षक राष्ट्रीय कौशल योग्यता ढांचे (NSQF) के अंतर्गत कक्षा 9 से 12 तक के छात्रों को कौशल आधारित शिक्षा प्रदान कर रहे हैं साथ ही एनएसक्यूएफ की शुरुआत सीबीएसई द्वारा पारंपरिक व्यावसायिक शिक्षा प्रणाली के स्थान पर की गई थी.
शिक्षा विभाग का कहना है कि नए शिक्षकों की भर्ती ना होने और सेवा निवृत्ति के कारण इनकी संख्या लगातार घट रही है और वर्तमान में दिल्ली सरकार के स्कूलों में कुल 505 नॉन परमानेंट वोकेशनल शिक्षक कार्यरत हैं, जिनमें से 410 शिक्षकों की सेवा विस्तार को हरी झंडी मिल गई है और बचे हुए 95 शिक्षक वित्त विभाग की मंज़ूरी के साथ अस्थायी पदों पर कार्यरत हैं, जिनका नवीनीकरण हर साल होता है ऐसे में यह कदम न केवल स्कूली शिक्षा में व्यावसायिक प्रशिक्षण को जारी रखने में सहायक होगा, बल्कि छात्रों को भविष्य के लिए तैयार करने में भी अहम भूमिका निभाएगा.