
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने मुर्शिदाबाद हिंसा को लेकर कहा था कि बंगाल जल रहा है और सीएम चुप हैं, दंगाइयों को शांति दूत कहती हैं. लातों के भूत बातों से कहां मानने वाले हैं. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ‘लातों के भूत बातों से नहीं मानते’ वाले बयान पर वरिष्ठ वकील मजीद मेमन ने प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा कि ‘यूपी के सीएम ऐसी टिप्पणियां करते हैं जो किसी भी तरह के महत्व के लायक नहीं हैं. उन्हें एक कान से सुनकर दूसरे कान से निकाल देना चाहिए. दुर्भाग्य से, वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चहेते हैं और इसलिए वह जो कुछ भी बोलते हैं, उस पर कोई ध्यान नहीं देता.’
दरअसल, मंगलवार को यूपी के सीएम ने पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में हुई हिंसा को लेकर ममता सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने कहा, “बंगाल जल रहा है और मुख्यमंत्री चुप हैं, दंगाइयों को शांति दूत कहती हैं.” सीएम योगी ने यह भी कहा कि लातों के भूत बातों से कहां मानने वाले हैं?
सेकुलरिज्म के नाम पर दे रखी है दंगे की छूट- सीएम योगी
सीएम योगी ने कहा, “याद कीजिए 2017 के पहले के उत्तर प्रदेश को, हर दूसरे-तीसरे दिन दंगा होता था, इन दंगाइयों का उपचार ही डंडा है. बिना डंडे के मानेंगे नहीं. आप देख रहे होंगे कि बंगाल जल रहा है, वहां की मुख्यमंत्री चुप हैं, दंगाइयों को शांति दूत कहती हैं, लातों के भूत बातों से कहां मानने वाले हैं, लेकिन सेकुलरिज्म के नाम पर इन लोगों ने दंगाइयों को दंगा करने की पूरी छूट दे रखी है.”
सीएम योगी ने ममता सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा कि पूरा मुर्शिदाबाद एक सप्ताह से जल रहा है, राज्य सरकार मौन है, इस प्रकार की अराजकता पर लगाम लगनी चाहिए और मैं वहां के न्यायालय को इस बात के लिए धन्यवाद दूंगा कि जिन्होंने वहां पर केंद्रीय बलों की तैनाती करके अल्पसंख्यक हिंदुओं की सुरक्षा के लिए कदम उठाया है.
‘उन्हें बांग्लादेश अच्छा लगता है तो वहां जाना चाहिए’
उन्होंने विपक्षी दलों की चुप्पी पर कहा कि सब लोग मौन हैं, मुर्शिदाबाद दंगों पर कांग्रेस और समाजवादी पार्टी मौन हैं, टीएमसी मौन है, वे धमकी पर धमकी दिए जा रहे हैं, बांग्लादेश के अंदर जो हुआ था, उसका समर्थन कर रहे हैं, अगर उन्हें बांग्लादेश अच्छा लगता है, तो उन्हें बांग्लादेश जाना चाहिए, क्यों भारत की धरती पर बोझ बने हुए हैं?
सीएम योगी ने जिक्र किया कि हम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के आभारी हैं, जिन्होंने वक्फ कानून को लाकर गरीबों की जमीनों पर डकैती पर लगाम लगाने का काम किया है, अब जो जमीन वापस आएगी, उस पर अस्पताल, गरीबों के लिए घर, ऊंची इमारतें, स्कूल और विश्वविद्यालय बनाए जाएंगे.
उन्होंने कहा कि निवेश के लिए भूमि बैंक बनाया जाएगा. लेकिन, किसी को भी जमीन पर कब्जा करने और गुंडागर्दी करने की इजाजत नहीं दी जाएगी. इसलिए ये लोग चिंतित हैं क्योंकि जमीन के नाम पर लूट बंद होने वाली है. यूपी के सीएम के इसी बयान को लेकर राजनीति शुरू हो गई है.